जगदलपुर, 20 जनवरी (हि.स.)। कांग्रेस के पूर्व केबिनेट मंत्री व पूर्व प्रदेश प्रदेश मोहन मरकाम ने ओबीसी आरक्षण मुद्दे को लेकर आज साेमवार काे पत्रकारवार्ता को संबोधित करते हुए कहा कि नगरीय निकायों और त्रि-स्तरीय पंचायतों में भाजपा सरकार के द्वारा कराये गये वर्तमान आरक्षण प्रक्रिया के चलते प्रदेश में ओबीसी वर्ग का नुकसान हुआ है। पहले ओबीसी को धोखा दिया, अब सामान्य वर्ग को ठगने जा रहे। जब पूरे प्रदेश में सरकार के खिलाफ विरोध हो रहा तब कह रहे कि अनारक्षित वर्ग की आधा सीटों में पिछड़ा वर्ग को लड़ायेंगे। पहले तो पिछड़ों के संवैधानिक अधिकार में डाका डाला, अब जले पर नमक छिड़क रहे। अनारक्षित सीटों में तो सामान्य, एससी, एसटी, ओबीसी कोई भी लड़ सकता है और जहां पर जैसी परिस्थिति होती है लोग लड़ते भी है, इसमें भाजपा क्या अहसान कर रही? भाजपा का अहसान नहीं बाबा साहब के संविधान के द्वारा दिया गया आरक्षण का अधिकार चाहिये। प्रदेश की साय सरकार को ओबीसी वर्ग के आरक्षण को तत्काल बहाल करना चाहिए।
मोहन मरकाम ने कहा कि प्रदेश की भाजपा सरकार आरक्षण को रद्द कर फिर से आरक्षण कराये।ओबीसी वर्ग के आरक्षण को बहाल करे, भले ही इसके लिये अध्यादेश लाना पड़े तो लाया जाये। विधानसभा की विशेष सत्र बुलाना पड़े,बुलाया जाये लेकिन ओबीसी वर्ग के आरक्षण को बहाल तत्काल किया जाये। जिला पंचायत अध्यक्ष का एक भी सीट ओबीसी के लिये आरक्षित नहीं है। नगरीय निकाय क्षेत्रों में भी ओबीसी वर्ग के आरक्षण में कटौती हो गयी है। उन्हाेंने कहा कि कांग्रेस सरकार के समय 2019-20 में प्रदेश जब जिलों की संख्या 27 थी तब अनुसूचित जनजाति के लिये 13.अनुसूचित जाति के लिये 3 ओबीसी के लिये 7 तथा सामान्य वर्ग के लिये 4 जिला पंचायत सीटें आरक्षित थी, भाजपा सरकार ने षड्यंत्रपूर्वक इसमें कटौती किया। अब जिलों की संख्या 33 हो गयी लेकिन ओबीसी का आरक्षण 7 से घटकर शून्य हो गया। प्रदेश के सभी जिला पंचायत एवं जनपदों में जहां पहले 25 प्रतिशत सीटें अन्य पिछड़ा वर्ग के उम्मीदवारों के लिये आरक्षित हुआ करती थी, अब अनुसूचित क्षेत्रों में ओबीसी आरक्षण लगभग खत्म हो गया है। साय सरकार के द्वारा आरक्षण प्रक्रिया के नियमों में किए गए दुर्भावनापूर्वक संशोधन के बाद अनुसूचित जिले, शहर और ब्लॉकों में जिला पंचायत सदस्य, जनपद सदस्य और पंचों का जो भी पद अन्य पिछड़ा वर्ग के लिए आरक्षित था, अन्य वर्ग के लिये आरक्षित हो गया है।
इस दाैरान निगम के नेता प्रतिपक्ष उदयनाथ जेम्स, पार्षद रशीद खान,संजय पाणिग्रही, रविशंकर तिवारी, महामंत्री जाहिद हुसैन, कोषाध्यक्ष असीम सुता, अफरोज बेगम, आकिब रजा, हेमंत कश्यप, उस्मान रजा, शादाब अहमद आदि मौजूद रहे।