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नेपाल में भारी बारिश से गंडक नदी उफान पर

बगहा, 7अक्टूबर(हि.स.)।सीमावर्ती देश नेपाल के जलग्रहण क्षेत्र और पहाड़ी क्षेत्रों में पिछले तीन-चार दिनों से से रुक-रुक कर हो रही बारिश से गंडक नदी के जलस्तर में फिर एक बार वृद्धि जारी है।वहीं गंडक बराज द्वारा गुरूवार की दोपहर तीन लाख अड़तीस हजार क्यूसेक पानी छोड़ा गया। जिससे गंडक के जलस्तर में काफी वृद्धि जारी है। गंडक बराज के कार्यपालक अभियंता सुबोध चौधरी ने बताया कि जल स्तर में वृद्धि को देखते हुए गंडक बराज के सभी 36 फाटकों को आंशिक रूप से खोल दिया गया है।

उन्होंने आगे बताया कि पानी की बढ़ती स्थिति के मद्देनजर गंडक बराज पर तैनात सभी अधिकारी और कर्मचारियों को हाई अलर्ट कर दिया गया है। गंडक के जल स्तर में बनी वृद्धि को देखते हुए रात-दिन बराज पर कैंप किया गया है तथा पल-पल की रिपोर्ट पर नजर रखी जा रही हैं। नेपाल के नारायण घाट, पोखरा, त्रिशूली, बाकंलुम आदि जगहो में काफी बारिश होने के कारण गंडक नदी का जलस्तर लगातार बढ़ता जा रहा है। जिससे नीचले कई इलाकों में फिर से पानी फैलने लगा है और खतरा उत्पन्न होने की अशंका बढ़ चली है। नेपाल में हो रही लगातार बारिश के कारण बाढ़ की संभावना बढ़ रही है। गंडक नदी का जलस्तर लगातार बढ़ता जा रहा है ।

बताते चलें कि नेपाल के जल ग्रहण वाले क्षेत्रों में भारी बारिश हो रही है। जिसके चलते नारायणी नदी का जलस्तर काफी बढ़ गया है। नारायणी नदी बाल्मीकि नगर के त्रिवेणी में आकर सोनाहा,सोनभद्र तथा तमसा नदी मिलती है। तीनों नदीयां एक साथ मिलकर गंडक नदी हो जाती है। तीनों नदियों में पहाड़ का पानी आता है। इससे गंडक का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है।

गंडक नदी से सटे वाल्मीकि टाइगर रिजर्व के अंतर्गत मदनपुर वन क्षेत्र, गोनौली वन क्षेत्र,वाल्मीकि नगर वन क्षेत्र के 29 एवं 30 में गंडक का पानी और बरसात का पानी फैला रहा है। वन क्षेत्र में बरसाती पानी व गंडक नदी का पानी घुसने से वन्य जीव सुरक्षित जगहों की तलाश में ऊंचे स्थानों की ओर पलायन कर रहे हैं।वहीं बगहा अनुमंडल पदाधिकारी ने गंड़क नदी में मछुआरों के नाव परिचालन पर अगले आदेश तक रोक लगा दी है।

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