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पब्लिक स्थानों पर वेरका के बूथ खोलने की योजना में बड़े भ्रष्टाचार की आशंका : प्रवीण बंसल

आज़ भारतीय जनता पार्टी पंजाब के पूर्व उपाध्यक्ष श्री परवीन बंसल, तथा नगर निगम कर्मचारी संघ के प्रधान डा डी पी खोसला के साथ एक हंगामी बैठक हुई। इस बैठक में नगर निगम लुधियाना में पब्लिक स्थानों पर वेरका के बूथ खोलने की योजना में बड़े भ्रष्टाचार होने पर चिंता की गई। नगर निगम और वेरका के अधिकारियों के हवाले से ये अखबारों में छपा है कि इस समय लुधियाना में केवल आठ बूथ हैं। जबकि 23 फरबरी 2021 को आर टी आई के द्वारा सूचना मांगने पर, नगर और वेरका के aggrement की कॉपी में अधिकारियों ने माना है कि नगर निगम में इस वक्त 35 बूथ अलॉट किए हैं। Physical वेरिफिकेशन करने पर भी इनकी संख्या 35 है। फिर अधिकारी आठ बूथों की बात क्यों कर रहे हैं।

ये बूथ नगर निगम में 4 जनवरी 2015 से चल रहे हैं। Agreement में ये शर्त है कि इन बूथों पर वेरका के अलावा अन्य कोई सामान नही बेचा जाएगा। जब कि ये बूथ वेरका के बूथ ना हो कर आज़ करियाना कि बड़ी बड़ी दुकानें नज़र आती हैं। 2015 से आज़ तक करीब आठ वर्षों में इन बूथ ( दुकानें) से नगर निगम और वेरका के अधिकारियों की मिलीभगत से किराए के रूप में करोड़ों का चूना लगाया गया है। क्यों कि ऐसी प्राइम लोकेशन पर इन बूथों (दुकानों) का एक एक का किराया कम से कम 10000 से 15000 बनता है जो की 35 बूथों का एक वर्ष का कुल क़रीब 50 लाख रूपए बनता है। आठ वर्ष का 4 करोड़ रूपए। नगर निगम अधिकारी अगर आठ बूथ की बात करतें हैं, तो इस की जांच होनी चाहिए कि इन बूथों का करीब चार करोड़ का किराया कहां जमा हुआ है। इस घपले में कौन कौन शामिल है।

दूसरा इस बैठक में ये भी फ़ैसला लिया गया कि कुछ दिनों में कमिश्नर नगर निगम को एक मांग पत्र देंगे। उस में ये मांग करेंगे कि ये बूथ एक ही एजेंसी को देने की बजाए शहर के बेरोजगारों युवकों को individual तौर पर अलॉट किए जाएं। एक एजेंसी को अलॉट करने से ये एजेंसियां अपना लाभ रख कर, युवाओं से मोटी मोटी रकम लेकर आगे sublet करते हैं। जिस से नगर निगम को भी और इन युवाओं को चुना लगता है।

इस बैठक में संघ के अन्य अधिकारी श्री शाम लाल कश्यप, हिमानी मेहरा, श्री सोनू संगर, श्री रोहन खोसला आदि भी उपस्थित थे।

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