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24 घंटे नहीं खोला तो समाप्त होगा जनऔषधि केंद्र का अनुबंध

कई शर्तों के साथ हल्द्वानी के डॉ. सुशीला तिवारी अस्पताल परिसर में खोला गया। इसके बाद भी जन औषधि केन्द्र मानकों को पूरा नहीं कर रहा है। जिसके बाद कॉलेज प्रबंधन ने ब्यूरो ऑफ फार्मा पीएसयू ऑफ इंडिया (बीपीपीआई) को नोटिस जारी कर नियर्मो को लागू नहीं करने पर अनुबंध समाप्त करने की चेतावनी दी है।

ज्ञात हो कि मेडिकल कॉलेज के अधीन संचालित डॉ. सुशीला तिवारी राजकीय अस्पताल के अंदर मरीजों को सस्ती व अच्छी दवाएं देने के उद्देश्य से मेडिकल कॉलेज ने बीपीपीआई के साथ 19 सितंबर 2020 को अनुबंध किया था।

इसके बाद ही एसटीएच परिसर में बीपीपीआई को जनऔषधि केंद्र खोलने के लिए जगह उपलब्ध कराई गई। अनुबंध के अनुसार जनऔषधि केंद्र का संचालन 24 घंटे और सप्ताह में सात दिन किया जाना था। इसके बावजूद सुबह 8 बजे से शाम 5 बजे तक के लिए ही इसका संचालन किया गया। जिसकी जानकारी होने पर पहले तो प्राचार्य डॉ. अरुण जोशी ने अनेक बार जन औषधि केंद्र संचालक को नियम के तहत इसका संचालन के करने के लिए कहा, फिर भी उनकी बात अनसुनी कर दी गई। तब कहीं जाकर प्राचार्य ने इसकी शिकायत सिटी मजिस्ट्रेट एपी बाजपेयी से की। ऐसे में उन्होंने भी केंद्र संचालक को 24 घंटे जन औषधि केंद्र खोलने का आदेश दिया।

इस पर उस समय केंद्र संचालक ने कहा कि स्टाफ को बढ़ाया जा रहा है, जिसके बाद इसका संचालन 24 घंटे कर दिया जाएगा। ऐसा करते हुए कई माह बीतने के बाद भी व्यवस्था नहीं सुधरी। इस कारण मरीजों को जनऔषधि केंद्र बंद होने के बाद बाहर से महंगी दवाएं खरीदनी पड़ रही हैं।

अब पुन: जब ये बात प्राचार्य डॉ. अरुण जोशी के संज्ञान में लाई गई तो उन्होंने बीपीपीआई के सीईओ को नोटिस जारी कर दिया। कहा कि आपने नियमों के तहत जन औषधि केंद्र का संचालन नहीं किया है। इसलिए 18 सितंबर को आपके साथ समाप्त होने वाले अनुबंध को आगे बढ़ाना संभव नहीं होगा।

राजकीय मेडिकल कॉलेज हल्द्वानी की प्राचार्य डॉ.अरुण जोशी का कहना है कि अस्पताल में जन औषधि केंद्र के संचालन के लिए बीपीपीआई को जगह इसलिए दी गई, ताकि मरीजों को कम दाम पर दवाएं मिल सकें। इसका संचालन 24 घंटे होना था। लेकिन काफी प्रयास के बाद भी बात नहीं मानी गई जिसके बाद नोटिस जारी किया गया है।

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