ऋषिकेश, 11 जनवरी (हि.स.)। भारत सरकार के राष्ट्रीय ग्रीन हाइड्रोजन मिशन के अन्तर्गत भागीदारी करते हुए टीएचडीसी ने अपने ऋषिकेश स्थित परिसर में 50 किग्रा प्रतिदिन हरित हाइड्रोजन उत्पादन, भंडारण और भंडारित हरित हाइड्रोजन से विद्युत उत्पादन की परियोजना की शुरुआत कर दी है।
टीएचडीसी की ओर से परियोजना स्थापित करने के लिए खुली निविदा प्रक्रिया के तहत कार्यदायी संस्था का चयन भी किया जा चुका है। कार्यदायी संस्था को लेटर आफ अवार्ड (एलओए) पांच जनवरी को जारी किया गया। टीएचडीसी के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक राजीव बिश्नोई ने बताया कि परियोजना से नौ महीने के समय अन्तराल में हरित हाइड्रोजन का उत्पादन चालू हो जायेगा। परियोजना की लागत 10 करोड़ रुपये है। हरित हाइड्रोजन उत्पादन हेतु इनपुट पावर परिसर में पहले से स्थापित एक मेगावाट क्षमता के रूफ टाप सोलर पावर प्लांट से ली जायेगी। उन्होंने बताया कि परियोजना से उत्पादित हरित हाइड्रोजन का उपयोग टीएचडीसी परिसर को प्रकाशित करने में किया जायेगा।
टीएचडीसी प्रशासन के मुताबिक यह परियोजना अपनी तरह में देश की सबसे बड़ी और सर्वप्रथम परियोजनाओं में से एक है। हरित हाइड्रोजन भविष्य के लिए एक संभाव्य स्वच्छ ईंधन है, जिसका उपयोग रिफाइनरी उद्योग, फर्टिलाइजर उद्योग, ऊर्जा , विद्युत उत्पादन परिवहन वाहनों आदि में ईंधन के रूप में होता है।
इस तरह के प्रोजेक्ट देश में हरित हाइड्रोजन के विकास व उपयोग को बढ़ावा देने का मार्ग प्रशस्त करेंगे और वर्ष 2070 तक नेट जीरो कार्बन जैसे महत्वाकांक्षी लक्ष्य को हासिल करने में मील का पत्थर साबित होंगे।